
शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की कार्यकारणी की बैठक शुक्रवार को अकाल तख्त साहिब में हुई। बैठक में कार्यकारिणी की तरफ से कई फैसले लिए गए हैं। शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) की कार्यकारणी ने श्री कटक साहब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह को अकल तख्त के जत्थेदार के पद से मुक्त कर दिया है। हालांकि ज्ञानी रघुबीर सिंह श्री हरमंदिर साहिब के मुख्य ग्रंथि के रूप में अपनी सेवाएं निभाते रहेंगे। शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की कार्य करने में अभी तक एसजीपीसी के अध्यक्ष के पद से त्यागपत्र देने वाले एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी के त्यागपत्र पर कोई फैसला नहीं लिया है।
शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने ज्ञानी रघुबीर सिंह की जगह पर ज्ञानी कुलदीप सिंह को श्री अकाल तख्त साहिब का जत्थेदार नियुक्त कर दिया है। वहीं एसजीपीसी ने एक अन्य फैसला लेते हुए तख्त केशगढ़ साहिब के जत्थेदार ज्ञानी सुल्तान सिंह को भी पद से हटा दिया है। उनकी जगह पर बाबा टेक सिंह धनौला को तख्त श्री केशगढ़ साहब का जत्थेदार का नियुक्त कर दिया गया है।
हरजिंदर सिंह धामी ने 17 फरवरी को एसजीपीसी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया था। धामी का इस्तीफा अभी तक कार्यकारिणी कमेटी की ओर से स्वीकार नहीं किया गया है। एसजीपीसी कार्यकारिणी ने कहा था कि हरजिंदर सिंह धामी को अपने इस्तीफे पर पुनर्विचार करना चाहिए। कार्यकारिणी ने उनसे एसजीपीसी अध्यक्ष के रूप में कार्य जारी रखने का अनुरोध किया था, लेकिन वीरवार को हरजिंदर सिंह धामी ने साफ कह दिया है कि वह अपना इस्तीफा वापस नहीं लेंगे।
एसजीपीसी की कार्यकारिणी की ओर से 20 दिन बाद भी इस्तीफा स्वीकार नहीं किया गया है। धामी को त्यागपत्र वापस लेने के लिए अकाली दल बादल के कई वरिष्ठ नेता, बागी गुट के कई नेता और तख्त दमदमा साहिब के पूर्व जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह और यहां तक के श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह भी त्यागपत्र वापस लेने की अपील कर चुके हैं।