नोएडा सेक्टर-36 स्थित साइबर क्राइम थाने की टीम ने फर्जी लीगल कंसल्टेंसी फर्म खोलकर नौकरी दिलाने के नाम पर सैकड़ों युवाओं से साइबर ठगी के आरोपित को गुरुग्राम से गिरफ्तार किया है। आरोपित की पहचान बंगाल के दक्षिण दिनाजपुर निवासी मंजारुल इस्लाम (30) के रूप में हुई है। 3 हजार करोड़ की साइबर ठगी के आरोपित का नेटवर्क चीन से जुड़ा हुआ है। इसका भी पता चला है।
उत्तर प्रदेश साइबर क्राइम के एसपी प्रोफेसर त्रिवेणी सिंह ने बताया कि पिछले कुछ समय से देश के अलग-अलग राज्यों के लोगों को फ्लिपकार्ट, अमेजन जैसी बड़ी कंपनियों में आनलाइन पार्टटाइम नौकरी दिलाने के नाम पर बड़े स्तर पर धन उगाही की जानकारी सामने आई थी।
बरेली की रहने वाली एक युवती ने साइबर क्राइम थाना बरेली में शिकायत दर्ज कराई थी कि ठगों ने उन्हें प्रत्येक रिचार्ज पर रुपये दोगुना होने का झांसा देकर 2 लाख 10 हजार रुपये की आनलाइन धोखाधड़ी कर ली थी। मामले में धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया था।
जांच में सामने आया कि युवती के खातों से ठगी के रुपये यूपीआइ के माध्यम से तीन अलग-अलग खाते में ट्रांसफर किए गए थें। ठगी के आरोपितों द्वारा इस तरह से करीब सैकड़ों लोगों से तीन हजार करोड़ रुपये की ठगी की गई है। इस रुपये को अलग-अलग क्रिप्टो एक्सचेंज में वालेट बनाकर और अलग-अलग फर्जी कंपनियों, ट्रस्ट व फर्म खोलने के लिए उपयोग किया जाता है। अबतक 46 में 12 फर्जी कंपनियों, ट्रस्टों व फर्म के खातों का उपयोग कर 1,500 करोड़ रुपये को अलग-अलग माध्यम से ट्रांसफर कर उपयोग में लाया गया है।
मामले में असम रूरल डेवलपमेंट सोसायटी नाम से फर्जी एनजीओ बनाकर 200 करोड़ रुपये ट्रांसफर का आरोपित गुवाहाटी निवासी जयदेव डे महाराष्ट्र की पुणे जेल में बंद है। मामले में कार्रवाई करते हुए हरियाणा के गुरुग्राम से डाफिन कंसल्टेंट सर्विस प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक मंजारुल इस्लाम को गिरफ्तार किया है।
आरोपित ने अपने खाते से करीब 14 करोड़ रुपये की साइबर ठगी को चीन के रहने वाले एक लियान के साथ मिलकर अलग-अलग कंपनियों में ट्रांसफर किए हैं। पूछताछ में कई अन्य फर्जी कंपनियों और सहयोगियों का नाम सामने आए हैं, जिनकी तलाश जारी है।
इन क्रिप्टो वालेट में मिले रुपये
जांच में होओबी के 95 वालेट, बिनेंस के 64, ओकेक्स के 21 , पोलोनिएक्स, स्मार्ट कांट, ओकेक्वाइनव, बिटपाई के दो-दो, बिटफिन्केस व एफटीएफ एक्सचेंज का एक-एक वालेट मिला है। बिनेंस के 56 वालेट में करीब 1,413 करोड़ रुपये ट्रांसफर किए गए। जिसमें 6 वालेट भारत के और बाकी वालेट चीन, फिलीपींस, मलेशिया व अन्य देशों के हैं।