जीवनशैली

फायदे की जगह नुकसान भी पहुंचाता है हल्दी वाला दूध

 दूध और हल्दी अपने आप में ही एक जबरदस्त सुपरफूड हैं। दूध हड्डियों के लिए बेहद जरूरी माना जाता है और हल्दी इम्युनिटी के लिए जरूरी है। सदियों से आयुर्वेद में भी हल्दी वाले दूध को बेहद फायदेमंद माना जाता रहा है। इससे होने वाले फायदों की वजह से ही गोल्डन मिल्क कहलाता है।

आमतौर पर हल्दी वाला दूध किसी तरह के दर्द या घाव से राहत पाने के लिए पिया जाता है, लेकिन इससे शरीर को और भी कई फायदे मिलते हैं। ये इम्यून सिस्टम को मजबूत करने के साथ सूजन को कम करता है। रात में हल्दी दूध पीकर सोने से नींद अच्छी आती है। हल्दी स्किन के लिए काफी गुणकारी मानी जाती है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि इतने सारे फायदों से भरा हल्दी दूध कुछ लोगों के लिए घाटे का सौदा भी हो सकता है।

हल्दी वाले दूध के नुकसान
कुछ खास कंडीशन में हल्दी वाला दूध सेहत को फायदे की जगह नुकसान पहुंचा सकता है। ऐसे अगर इनकी जानकारी न होने पर लेने के देने पड़ सकते हैं। हल्दी वाले दूध के साइड इफेक्ट शरीर के अलग-अलग सिस्टम को अलग रूप में प्रभावित कर सकते हैं, जिन्हें पहचानना जरूरी है। ऐसे में आप इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे हल्दी वाले दूध से होने वाले ऐसे ही कुछ नुकसान-

लैक्टोज इंटॉलरेंट
जो लोग दूध में मौजूद लैक्टोज को नहीं पचा पाते हैं, उनके लिए इस गोल्डन मिल्क का कोई महत्व नहीं है। इसे पीने से उन्हें फायदे की जगह नुकसान हो सकता है। इससे उल्टी-दस्त और डायरिया की समस्या हो सकती है। इसलिए लैक्टोज इंटॉलरेंट लोगों को हल्दी दूध से परहेज करना चाहिए।

एलर्जिक रिएक्शन
कुछ लोगों को हल्दी वाले दूध पीते ही स्किन में खुजली, लाल चकत्ते या सांस लेने में तकलीफ हो सकती है। ऐसा एलर्जिक रिएक्शन के कारण होता है। इसलिए ऐसे लोगों को दूध नहीं पीना चाहिए।

पाचन तंत्र में गड़बड़ी
हल्दी की ज्यादा मात्रा पाचन तंत्र को डिस्टर्ब कर सकती है। हल्दी में मौजूद करक्यूमिन की अधिकता पेट से जुड़ी समस्याओं को बढ़ावा दे सकता है, जिससे गैस, ब्लोटिंग, डायरिया आदि की समस्या हो सकती है।

दवा से रिएक्शन
हल्दी में मौजूद करक्यूमिन ब्लड क्लॉटिंग के प्रोसेस से छेड़छाड़ करता है और इसलिए ये ब्लड को पतला कर सकता है। इसलिए एंटी कॉग्लेंट दवाइयों के साथ हल्दी वाला दूध पीने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।

एडिटिव और कलर से समस्या
आजकल मिलावट वाले जमाने में हल्दी में आर्टिफिशियल कलर और एडिटिव मिले हुए होते हैं, जो सेहत को फायदे की जगह ढेरों नुकसान पहुंचाते हैं।

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