
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की अध्यक्षता में मंत्रिमण्डल द्वारा स्वीकृत राजस्थान ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर पॉलिसी-2025 राज्य को जीसीसी के क्षेत्र में देश का अग्रणी हब बनाने की दिशा में ऐतिहासिक कदम है। इस नीति से राजस्थान में बहुराष्ट्रीय कंपनियों के लिए अनुकूल वातावरण तैयार होगा, जिससे रोजगार, तकनीक और आर्थिक विकास को नई गति मिलेगी। सशक्त बुनियादी ढांचा, कुशल कार्यबल और किफायती परिचालन लागत के चलते राजस्थान अब निवेशकों की पहली पसंद बनता जा रहा है।
निवेशकों के लिए आकर्षक माहौल
राजस्थान की बेहतर कनेक्टिविटी, एनसीआर और डीएमआईसी से सीधा जुड़ाव, औद्योगिक केंद्रों तक आसान पहुंच और कम ऑपरेशनल लागत जीसीसी स्थापना को सुगम बनाते हैं। यह राज्य अब वैश्विक कंपनियों के लिए प्रतिस्पर्धी गंतव्य के रूप में उभर रहा है।
सरल आवेदन और त्वरित स्वीकृति
राजनिवेश पोर्टल के जरिए जीसीसी के लिए आवेदन किया जाएगा। पीईसी और पीएसी समितियां 60-60 दिनों में परियोजनाओं का निस्तारण करेंगी। उद्योग एवं वाणिज्य विभाग को नोडल विभाग बनाया गया है, जिससे प्रक्रियाएं पारदर्शी और तेज होंगी।
रोजगार और स्थानीय प्रतिभा को बढ़ावा
इस नीति का लक्ष्य वर्ष 2030 तक 200 से अधिक जीसीसी की स्थापना और 1.5 लाख नए रोजगार सृजन करना है। इससे स्थानीय युवाओं को प्रशिक्षण, कौशल विकास और वैश्विक स्तर पर काम करने के अवसर मिलेंगे।
भारी सब्सिडी और प्रोत्साहन
रिप्स-2024 के तहत पूंजी निवेश पर 10 करोड़ तक सब्सिडी, किराया सहायता, पेरोल सब्सिडी, प्रशिक्षण लागत प्रतिपूर्ति, ग्रीन इंसेंटिव और स्टांप ड्यूटी में छूट जैसी सुविधाएं निवेशकों को आकर्षित करेंगी।





